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Monday, August 15, 2011

देश में अब भ्रष्टाचार से मुक्ति के लिये लड़ाई की परिस्थितियां - शिवराजसिंह

देश में अब भ्रष्टाचार से मुक्ति के लिये लड़ाई की परिस्थितियां - शिवराजसिंह चौहान

मीसाबंदियों के स्वास्थ्य और उपचार व्यवस्थाओं में सहयोग करेगी सरकार

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भोपाल । मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने कहा है कि आपातकाल की बर्बरता और लोकतंत्र का गला घोटने के खिलाफ किए गए आंदोलन की तुलना आजादी की दूसरी लड़ाई से की जा सकती है। अब देश में भ्रष्टाचार से मुक्ति के लिये लड़ाई की परिस्थितियाँ निर्मित हो रही हैं। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में भ्रष्टाचार को रोकने के लिये व्यवस्थागत सुधार और भ्रष्टाचारियों के विरूद्ध कठोर कार्यवाही के प्रभावी कदम उठाए गए हैं।

श्री चौहान आपात काल के दौरान केंद्रीय कारागार भोपाल में निरूद्ध मीसाबंदियों द्वारा रचित हस्तलिखित पत्रिका कालचक्र का आज यहाँ आयोजित कार्यक्रम में विमोचन कर रहे थे।
श्री चौहान ने कहा कि एक के बाद एक घोटालों की जानकारी से जनता बेचैन है। उन्होंने कहा कि भ्रष्टाचार के विरूद्ध लड़ाई में जनता साथ देगी। उन्होंने मध्यप्रदेश में भ्रष्टाचार रोकने के लिये व्यवस्था में किये गये बदलाव की जानकारी दी। श्री चौहान ने बताया कि गणवेश, साइकिल वितरण, किसान अनुदान, बोनस आदि की राशि सीधे लाभान्वितों के खातों में जमा करने के साथ ठेकों में ई-टेंडर प्रणाली लागू की गयी है। अब ई-पेमेंट की भी व्यवस्था हो रही है। भ्रष्टाचारी की सम्पत्ति राजसात करने का विधेयक पारित कर केंद्र सरकार की मंजूरी के लिये भेजा गया है।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने मीसाबंदियों के साथ बिताए पलों का स्मरण करते हुए कहा कि निराशा में उत्साह का संचार कैसे किया जाता है। मीसाबंदी काल में संघर्ष के लिये सर्वस्व अर्पित करने का जज्बा और जिंदादिली के अनुभव और सत्यार्थ प्रकाश, गीता रहस्य जैसे ग्रंथ और विवेकानंद साहित्य का अध्ययन उनके जीवन की पूँजी है। लोक की भगवान के रूप में सेवा के प्रयासों की प्रेरणा और मीसाबंदी के दौरान महापुरूषों के जीवन का अध्ययन करने का अवसर मिला।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि मीसाबंदियों को स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के समान सुविधाएँ देने की पहल प्रदेश सरकार ने की है। उन्होंने कहा कि मीसाबंदियों में कई मीसाबंदी सामाजिक-राजनैतिक जीवन में सक्रिय हैं किन्तु बहुत सारे मीसाबंदी की आर्थिक स्थिति दयनीय है। श्री चौहान ने ऐसे मीसाबंदियों को चिन्हित कर उनके सहयोग के प्रयास किए जाने की जरूरत बताई। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र की पुनर्स्थापना के संघर्ष में सर्वस्व अर्पित करने वाले मीसाबंदियों के स्वास्थ्य और उपचार संबंधी व्यवस्थाओं में प्रदेश सरकार सहयोग करेगी।

प्रारंभ में मुख्यमंत्री श्री चौहान ने मीसाबंदी श्री गौरीशंकर कौशल, श्री आरिफ बेग, वन मंत्री श्री सरताज सिंह का पुष्पहार से सम्मान किया। उन्होंने आपातकाल के दौरान हस्तलिखित पत्रिका कालचक्र की प्रति को संरक्षित रखने के लिये श्री शंकर जी को बधाई दी। कार्यक्रम का संचालन श्री तपन भौमिक ने किया।

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