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Sunday, May 13, 2012

थल सेना अध्यक्ष और मुख्यमंत्री की मौजूदगी में हुआ आयोजन

ब्लड बैंक और एसएनसीयू लोकार्पित  

 ब्यूरो प्रमुख // मनीष साहू ‘बन्टी’  (नरसिंहपुर // टाइम्स ऑफ क्राइम)
ब्यूरो प्रमुख से संपर्क:- 9424995001
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 मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शनिवार को नरसिंहपुर के जिला अस्पताल  में सर्व-सुविधायुक्त नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई और रोटरी ब्लड बैंक का लोकार्पण किया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि थलसेना अध्यक्ष  जनरल व्ही.के.सिंह और विशिष्ट अतिथि गृह मंत्री उमाशंकर गुप्ता तथा अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल विवेक कृष्ण तन्खा थे। जिला पंचायत की अध्यक्ष श्रीमती देवकुंवर परिहार, विधायक भैयाराम पटेल, सुनील जायसवाल, नगरपालिका नरसिंहपुर के अध्यक्ष  महंत प्रीतमपुरी गोस्वामी, कलेक्टर संजीव सिंह, पुलिस अधीक्षक जी.जी.पाण्डे रूद्रेश तिवारी, विनायक परिहार मौजूद थे। मुख्यमंत्री श्री चौहान, थल सेना अध्यक्ष व्ही.के.सिंह तथा गृह मंत्री उमाशंकर गुप्ता ने रोटरी ब्लड बैंक और नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई का अवलोकन किया। रोटरी ब्लड बैंक का निर्माण पब्लिक प्रायवेट पार्टनरशिप के तहत स्वर्गीय कर्नल अजय नारायण मुशरान की स्मृति में कराया गया है। ब्लड बैंक की लागत एक करोड़ रूपये है, जिसमें से 50 लाख रूपये की राशि रोटरी क्लब द्वारा, 10 लाख रूपये की राशि जनभागीदारी निधि से जिला कलेक्टर द्वारा और 40 लाख रूपये की राशि राज्य योजना आयोग म.प्र. द्वारा उपलब्ध कराई गई है। नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई (सिक न्यूबोर्न केयर यूनिट-एस.एन.सी.यू.) की स्थापना नार्वे इण्डिया पार्टनरशिप इनिश्एिटिव-निपि, राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन-एन.आर.एच.एम. और प्रदेश शासन द्वारा संयुक्त रूप से की गई है। इस इकाई की स्थापना पर करीब एक करोड़ रूपये की लागत आयी है। जिसमें करीब 65 लाख रूपये लागत के उपकरण आदि प्राप्त हुए हैं और करीब 35 लाख रूपये लागत से इकाई के कक्षों का उशयन किया गया है। 

जिले में मिलेंगी बड़ी सुविधाएं 

रोटरी ब्लड बैंक से एक ही ब्लड से प्लेटलेट, आर.वी.सी. एवं प्लाज्मा की जरूरत वाले 3 तरह के मरीजों को काफी लाभ मिलेगा, पहले इन मरीजों को उपचार के लिए जिले से बाहर जाना पड़ता था अब उन्हें यह सुविधा नरसिंहपुर में ही मिलने लगेगी। इससे डेंगू, जलने वाले बर्न, थैलेसीमिया, सिकल सेल एनीमिया समेत एनीमिया, मलेरिया आदि रोगों के मरीजों को लाभ मिलेगा। नवजात शिशु गहन चिकित्सा इकाई में नवजात शिशुओं से संबंधित सभी रोगों के उपचार की सुविधाएं हैं। इकाई की स्थापना का मुख्य मकसद शिशु मृत्यु दर में कमी लाना है। यहां पर पीलिया, रक्त की कमी, हाईपोथर्मिया, न्यूमोनिया, रक्त बदलने की जरूरत वाले, जन्म पर नहीं रोने वाले, कम वजन के, प्रीमैच्योर, सेप्टीसीमिया आदि रोग वाले सभी बच्चों का उपचार गहन निरीक्षण में किया जाता है। इस इकाई में अत्याधुनिक ए.बी.जी. मशीन, पीलिया जांचने की मशीन, पैथेलॉजी की सुविधा उपलब्ध है।
 

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