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Friday, June 21, 2019

पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान और चिरायु अस्पताल संचालक डॉ. गोयनका के खिलाफ आपराधिक परिवाद पेश

पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान और चिरायु अस्पताल संचालक डॉ. गोयनका के खिलाफ आपराधिक परिवाद पेश

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भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और चिरायु अस्पताल के संचालक अजय गोयनका के खिलाफ शुक्रवार को राजधानी की विशेष अदालत में आपराधिक परिवाद पेश किया गया। विशेष न्यायाधीश सुरेश सिंह की अदालत में शुक्रवार को कैपिटल होटल हमीदिया रोड निवासी भुवनेश्वर प्रसाद मिश्रा ने परिवाद पेश करते हुए बैरागढ़ स्थित ग्राम भैंसाखेड़ी में

भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और चिरायु अस्पताल के संचालक अजय गोयनका के खिलाफ शुक्रवार को राजधानी की विशेष अदालत में आपराधिक परिवाद पेश किया गया। विशेष न्यायाधीश सुरेश सिंह की अदालत में शुक्रवार को कैपिटल होटल हमीदिया रोड निवासी भुवनेश्वर प्रसाद मिश्रा ने परिवाद पेश करते हुए बैरागढ़ स्थित ग्राम भैंसाखेड़ी में बड़े तालाब के डूब क्षेत्र की भूमि पर नियमों के विपरीत अस्पताल निर्माण के लिए जमीन आवंटित किए जाने का आरोप लगाया है।
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आरोप है कि शिवराज सिंह चौहान और चिरायु अस्पताल के संचालक अजय गोयनका ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल करते हुए बड़े तालाब के कैचमेंट एरिया में आने वाली करीब 32 एकड़ जमीन हड़प ली है। इसके लिए पूर्व मुख्यमंत्री चौहान ने अपने पद पर रहते हुए डूबत क्षेत्र की भूमि का लैंडयूज अस्पताल निर्माण के लिए करवा दिया। इसके बाद बैरागढ़ राजस्व मंडल और डॉ. गोयनका के बीच 9 सितंबर 2018 को अनुबंध हुआ। इस षड़यंत्र के तहत सभी नियमों और कानूनों को ताक पर रखकर शासन की करीब 100 करोड़ की भूमि हड़प कर अपने व्यावसायिक निजी उपयोग के लिए रख ली गई। अदालत ने मामले की सुनवाई 19 जून को तर्क हेतु नियत की है।

वन विभाग की आपत्ति खारिज कर दी थी

परिवाद में बताया गया कि इस संबंध में वन विभाग द्वारा उक्त भूमि को डूबत क्षेत्र की बताते हुए आपत्ति की गई थी, जिसे सिरे से खारिज कर दिया गया था। परिवादी ने आरोप लगाया है कि पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह और डॉ. गोयनका ने षडयंत्र और अपने प्रभाव का इस्तेमाल करके शासन को करोड़ों रुपए का चूना लगाया है, जिसके लिए धोखाधड़ी, अमानत में खयानत के तहत आपराधिक प्रकरण दर्ज किया जाए। परिवादी की ओर से वकील यावर खान ने इस मामले को लेकर ईओडब्ल्यू में की गई शिकायत, विभागों द्वारा की गई आपत्तियों और कैचमेंट एरिया के लिए वैधानिक नियमों से संबंधित दस्तावेज भी पेश किए हैं।

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