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Saturday, February 15, 2020

एमपी भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष बने सांसद विष्णु दत्त शर्मा

MP Vishnudutt Sharma MP BJP एमपी भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष बने सांसद विष्णु दत्त शर्मा

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मध्य प्रदेश भाजपा के महासचिव एवं खजुराहो लोकसभा सीट के सांसद विष्णु दत्त शर्मा (49) मध्यप्रदेश भाजपा के नए अध्यक्ष बनाए गए हैं। इसके अलावा के सुरेंद्रण को केरल बीजेपी, दल बहादुर चौहान को सिक्किम बीजेपी अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। भाजपा राष्ट्रीय महासचिव अरुण सिंह ने शनिवार को एक विज्ञप्ति जारी कर इसकी आधिकारिक घोषणा की।
विष्णु दत्त शर्मा प्रदेश भाजपा अध्यक्ष राकेश सिंह की जगह लेंगे। सिंह मध्यप्रदेश के जबलपुर से सांसद हैं। उन्हें केन्द्रीय गृह मंत्री एवं भाजपा के पूर्व अध्यक्ष अमित शाह का दाहिना हाथ माना जाता है।
राज्य के राजनीतिक गलियारों में अनुमान लगाया जा रहा था कि राकेश सिंह को फिर से मध्यप्रदेश भाजपा की कमान सौंपी जा सकती है। उन्होंने संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के समर्थन में पिछले महीने अपने लोकसभा क्षेत्र जबलपुर में एक विशाल रैली का आयोजन किया था। हालांकि, भाजपा नेतृत्व ने प्रदेश भाजपा अध्यक्ष पद के लिए शर्मा को चुना। पार्टी के इस कदम ने भाजपा के कई नेताओं को आश्चर्यचकित किया है। विष्णु दत्त शर्मा पार्टी नेताओं एवं कार्यकर्ताओं में वीडी शर्मा के नाम से जाने जाते हैं।
वह संघ के करीबी माने जाते हैं। उन्होंने अपने राजनीतिक जीवन की शुरूआत अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) से की थी। एबीवीपी को 1990 के दशक में मध्यप्रदेश में मजबूत करने का श्रेय उन्हीं को जाता है। शर्मा एबीवीपी के राष्ट्रीय महासचिव रह चुके हैं। वह वर्ष 2013 में भाजपा में आए इस पद पर उनकी नियुक्ति के बाद भाजपा नेतृत्व ने मध्यप्रदेश में दूसरा महत्वपूर्ण पद ब्राह्मण नेता को सौंपा है। इससे पहले पार्टी ने गोपाल भार्गव को मध्यप्रदेश विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष बनाया है।
विष्णु दत्त शर्मा मूलत: मध्यप्रदेश के मुरैना जिले से हैं। करीब 32 साल से राजनीति में सक्रिय शर्मा ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से राजनीति की शुरुआत की थी। इस दौरान वे संगठन में प्रदेश महामंत्री के अलावा अन्य कई पदों पर रहे। शर्मा चंबल क्षेत्र में भाजपा का बड़ा ब्राह्मण चेहरा हैं। वे संघ के भी चहेते हैं। शर्मा अपने राजनीतिक कॅरियर के दौरान काफी आंदोलन किए। उन्होंने भ्रष्टाचार के खिलाफ पदयात्रा भी निकाली थी, जो बालाघाट से शुरू हुई थी। शिक्षा में व्यावसायीकरण और भ्रष्टाचार के खिलाफ आंदोलन में वह हमेशा सक्रिय रहे। उन्होंने नर्मदा में प्रदूषण को लेकर भी काफी अध्ययन किया और एनजीटी में मामला भी दायर किया।
शर्मा की पहचान जमीनी नेता के रूप में होती है। वे 1987 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में से जुड़े। 1993 से 1994 तक वे मप्र राज्य सचिव रहे। 2001 से 2007 तक एवीवीपी राज्य संगठन सचिव रहे। इसके बाद उन्हों ने एबीवीपी के राष्ट्रीय सचिव का पद संभाला। 2007 से 2017 तक मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के क्षेत्रीय संगठन सचिव रहे। 2007 से 2009 तक एबीवीपी के राष्ट्रीय महासचिव रहे। इसके बाद उन्हें मध्यप्रदेश भाजपा संगठन में प्रदेश महामंत्री नियुक्त किया और फिर खजुराहो लोकसभा सीट से भाजपा सांसद बने। 2015 में शर्मा को नेहरू युवा केंद्र के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स का उपाध्यक्ष भी नियुक्त किया गया। उन्हें राज्य मंत्री का दर्जा प्राप्त हुआ था। केंद्र की मोदी सरकार द्वारा उन्हें यह नियुक्ति दी गई थी।

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