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पुलिस को जैसे ही यह जानकारी मिली, जेल परिसर में हड़कंप मच गया. इस जेल में इस समय कई महिला नक्सली बंद हैं. इस घटना से नक्सल हमलों के बाद खुफिया जानकारी में नक्सलियों के निशाने पर प्रदेश की कुछ जेलों की होने की खबर के बाद जेल की सुरक्षा चाक चौबंद करने का दावा करने वाली रायपुर पुलिस और जेल प्रशासन की पोल खुल गई है. मौका मुआयना से पता चलता है कि दीवार में अभी हाल ही में छेद बनाने का प्रयास किया गया है.
एक जगह तो दीवार भेदने में साजिशकर्ता बहुत हद तक सफल भी हो गए हैं. छेद इतना बड़ा है कि एक झटके में कोई भी बाहर निकल सकता है. वहीं दूसरी जगह ऊपरी परत निकली हुई है. दो अन्य जगहों पर भी निशान हैं, जिन्हें देखने से लगता है कि दीवार भेदने वालों की संख्या एक से ज्यादा रही होगी.
अगर दीवार में बने छेद से होकर जेल से भागना बहुत आसान है, क्योंकि जेल के पीछे ही बस स्टैंड है और घनी बस्ती के साथ-साथ झाड़-झंखाड़ भी हैं.
इस समय दो महिला नक्सली महिला जेल में बंद हैं, जिनके मामले में फैसला 9 जुलाई को सुनाया जाना है. जेल में सुरंग बनाने की घटना को महिला नक्सलियों से जोड़कर देखा जा रहा है. इस मामले में जेल प्रबंधन फिलहाल कुछ भी कहने से बच रहा है.