श्री राम लला को जमीन का मालिकाना हक, सुन्नी बोर्ड को 5 एकड़ वैकल्पिक जमीन |
ANI NEWS INDIA - बिग ब्रेकिंग न्यूज़
- सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला। अयोध्या में विवादित जमीन राम लला की ।
- सुन्नी बोर्ड को 5 एकड़ वैकल्पिक जमीन अयोध्या में ।
- 3 महीने में ट्रस्ट बनाकर केंद्र सरकार मंदिर निर्माण का कार्य करे, नियम बनाये केंद्र सरकार।
सदियों पुराने ऐतिहासिक राम मंदिर विवाद का फैसला आज हो ही गया ज्ञात हो कि कुछ सालों पहले अयोध्या में श्री राम जन्मभूमि पर मंदिर को गिराकर मस्जिद का निर्माण किया गया और फिर किसी एक पक्ष ने उस मस्जिद के ढांचे को भी गिरा दिया तब से वह विवादित था और वहां पर सुरक्षाकर्मियों द्वारा कड़ा पहरा लगा दिया गया।
समय-समय पर नए नए विवाद सामने आते रहे और राजनेताओं को अपनी रोटियां सेकने का अवसर भी भरपूर मिला और राम मंदिर के नाम पर बोट की उगाही भी खूब हुई पर तारीख पर तारीख तारीख पर तारीख लोगों को मिलती रही और आखिर वह ऐतिहासिक दिन आ ही गया जब इस विवाद का फैसला हुआ और हिंदू मुस्लिम दोनों पक्षों को लगभग बराबर महत्त्व देते हुए जहां एक तरफ विवादित भूमि का मालिकाना हक श्री राम लाला जी को दिया वहीं मुस्लिम पक्ष को 5 एकड़ भूमि अन्य जगह दी गई यह बहुत ही अच्छा फैसला हुआ और यह फैसला एकतरफा ना होकर के दोनों पक्षों को देखते हुए दोनों पक्षों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए सामाजिक सौहार्द्र को भी ध्यान में रखते हुए दिया गया।
इस ऐतिहासिक फैसला का लगभग सभी देशवासियों को स्वागत और सम्मान करना चाहिए, ताकि देश में शांतिपूर्ण माहौल और सभी देशवासी भाईचारे से रहें। साथ ही यह भी बहुत अच्छा फैसला रहा कि केंद्र सरकार को 3 महीने का समय दिया गया ट्रस्ट बनाने के लिए। साथ ही निर्मोही अखाड़े व सुन्नी वक्फ बोर्ड का दावा भी खारिज कर दिया गया है ।
मुस्लिम पक्ष विवादित 2.77 एकड़ जमीन में अपना पक्ष साफ नहीं कर पाए और यह साबित नहीं कर पाए की मस्जिद शुरुआत से ही बनी थी और यही सबसे बड़ा अहम मुद्दा था कि विवादित जमीन रामलला को ही मिली ।साथ ही अयोध्या में ही 5 एकड़ जमीन मुस्लिम पक्ष को दी जाएगी यह फैसला भी स्वागत योग्य है। इस खबर से देश के समस्त मुस्लिम भाइयों में भी हर्ष और उल्लास का माहौल दिखाई देगा।
राम मंदिर बनने का रास्ता साफ हो चुका है,और सबसे बड़ी बात यह भी हो जाएगी की पूरे देश भर के हिंदुओं के आस्था का केंद्र श्री राम मंदिर बनने के बाद सरकार की आमदनी का बहुत बड़ा स्रोत भी होगा जहां पर सालाना करोड़ों अरबों रुपए दानवा चतरी के रूप में आएंगे जिससे देश के विकास में लगाया जाएगा और इस कदम से देश आर्थिक रूप से भी मजबूत व समृद्ध बनेगा ।अब राम जन्मभूमि का यह ऐतिहासिक फैसला दोनों समुदायों के बीच का फासला जरूर मिटाएगा और इसके साथ ही देश में अमन चैन और शांति कायम रहेगी।