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छत्तीसगढ़ का शासकीय चार्टर विमान पंडित धीरेंद्र शास्त्री बागेश्वर उर्फ़ ‘पर्ची बाबा’ को लाने के लिए सतना भेजा, बाबा को सरकारी विमान क्यों |
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रायपुर। देखिए किस तरह छत्तीसगढ़ के संसाधनों को बाबाओं पर लुटाया जा रहा है। छत्तीसगढ़ का शासकीय चार्टर विमान बागेश्वर उर्फ़ ‘पर्ची बाबा’ को लाने के लिए सतना भेजा गया। चूँकि बागेश्वर उर्फ़ पर्ची इस सुविधा के लिए नियमानुसार पात्र नहीं था, इसलिए औपचारिकता निभाने के लिए एक मंत्री को उस विमान में बैठाया गया।
विमान सुबह 9:30 बजे सतना एयरपोर्ट पर उतरा और बागेश्वर उर्फ़ पर्ची को बैठाकर ठीक 10:00 बजे रायपुर के लिए रवाना हो गया।
बाबा को सरकारी विमान क्यों
सरकारी विमान का इस्तेमाल सरकारी सेवा या संवैधानिक पदों पर आसीन लोग कर सकते हैं। लेकिन बागेश्वर बाबा को किस हैसियत से सरकारी विमान दिया गया है। सोशल मीडिया पर लोगों का कहना है कि क्या धार्मिक कार्य के लिए सरकारी विमान का उपयोग करना सही है। ऐसे में कई तरह के सवाल उठ रहे हैं। आरोप लग रहे हैं कि राज्य सरकार के एक मंत्री मध्य प्रदेश से बाबा को लेने आए थे।
बागेश्वर बाबा सरकारी विमान के पात्र नहीं
गौरतलब है कि सरकारी नियमों के अनुसार, बाबा बागेश्वर को शासकीय विमान में यात्रा करने की पात्रता नहीं है। इसी कारण, उन्हें लाने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार के मंत्री गुरु खुशवंत साहेब को विशेष रूप से मध्य प्रदेश के सतना भेजा गया था। विमान सुबह करीब साढ़े नौ बजे सतना हवाई अड्डे पर उतरा और लगभग आधे घंटे बाद, दस बजे रायपुर के लिए रवाना हो गया।
पंडित धीरेंद्र शास्त्री के पैर छूने वाले TI लाइन अटैच
बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री उर्फ बाबा बागेश्वर सरकारी विमान से छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर के स्वामी विवेकानंद अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पहुंचे, जहां ड्यूटी पर लगे थाना प्रभारी को बाबा के पैर छूना भारी पड़ गया है। ऑन-ड्यूटी TI मनीष तिवारी का पंडित धीरेंद्र शास्त्री से मुलाकात के दौरान पैर छूने का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया है। वीडियो के सामने आते ही पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया और वरिष्ठ अधिकारियों ने मामले को गंभीरता से लेते हुए तत्काल कार्रवाई करते हुए TI मनीष तिवारी को लाइन अटैच कर दिया गया है।

वीडियो वायरल होने के बाद रायपुर SSP लाल उमेद सिंह ने मामले का तत्काल संज्ञान लिया। पुलिस विभाग के सेवा नियमों और आचार संहिता के अनुसार, ड्यूटी के दौरान वर्दीधारी अधिकारी को पूर्णत: निष्पक्ष, तटस्थ और मर्यादित आचरण का पालन करना होता है। किसी भी धार्मिक, राजनीतिक या व्यक्तिगत आस्था का सार्वजनिक प्रदर्शन ड्यूटी के समय वर्दी में करना नियमों के विरुद्ध माना जाता है। इसी आधार पर TI मनीष तिवारी को लाइन अटैच कर दिया गया है।


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