प्रज्ञा ठाकुर का नामांकन खारिज़ चुनाव लड़ने पर संकट ? उम्मीदवार के रूप में आलोक संजर ने भरा पर्चा |
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आलोक संजर को डमी कैंडिडेट के रूप में इसलिए उतारा गया है क्योंकि साध्वी प्रज्ञा के खिलाफ बाबरी मस्जिद पर बयान देने के चलते मामला दर्ज किया गया है.
भोपाल (Bhopal) से प्रज्ञा सिंह ठाकुर (Pragya Singh Thakur) के चुनाव लड़ने को लेकर बीजेपी (BJP) असमंजस में है इसीलिए भोपाल से बीजेपी के लिए प्रज्ञा सिंह ठाकुर के अलावा वर्तमान सांसद आलोक संजर (Alok Sanjar) ने भी अपना नॉमिनेशन फाइल किया है. उन्होंने डमी उम्मीदवार के रूप में नामांकन भरा है. इस कदम को बीजेपी के डर के रुप में देखा जा रहा है क्योंकि प्रज्ञा ठाकुर पर धारा 188 के तहत FIR दर्ज की गई है जिसकी वजह से प्रज्ञा का नामांकन खारिज़ हो सकता है.
क्या है संगठन का डर
संगठन का यह डर है कि अगर किसी सूरत में प्रज्ञा ठाकुर का नामांकन रद्द होता है तो भोपाल से आलोक संजर को चुनाव लड़ाया जा सकता है. हालांकि बीजेपी इस डर को स्वीकार नहीं कर रही, बीजेपी का कहना है कि यह परंपरा रही है कि पार्टी की तरफ से ही एक डमी कैंडिडेट नामांकन भरता है. बीजेपी की ओर से एक ही उम्मीदवार है और वो प्रज्ञा ठाकुर ही हैं. सूत्रों की मानें तो आलोक संजर को आलाकमान ने अचानक फॉर्म जमा करने का निर्देश दिया था. यही वजह थी कि साध्वी की रैली से आलोक संजर पूरे वक्त नदारद रहे थे.
डमी नॉमिनेशन पर बातचीत करते हुए सांसद आलोक संजर ने कहा कि, ‘इस तरह का नॉमिनेशन हमारी परंपरा रही है, भोपाल से प्रज्ञा दीदी ही चुनाव लड़ रही हैं..मुझे संगठन ने कहा तो मैंने फॉर्म भर दिया.’
क्या है विवादास्पद बयान का मामला
साध्वी प्रज्ञा ने बाबरी मस्जिद को लेकर एक विवादित बयान दिया था. साध्वी ने अपने इस बयान पर सफाई भी दी थी, लेकिन उनके जवाब को जिला निर्वाचन अधिकारी ने संतोषजनक नहीं पाया इसलिए उनके खिलाफ मामला दर्ज किया गया. निर्वाचन आयोग ने अयोध्या राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद पर विवादित बयान देने के मामले में भोपाल लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर के खिलाफ सोमवार को मामला दर्ज करने के निर्देश दिया था.
क्या कहा था प्रज्ञा ठाकुर ने
राममंदिर निर्माण के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में प्रज्ञा ने कहा था कि, “राममंदिर हम बनाएंगे एवं भव्य बनाएंगे. हम तोड़ने गये थे (बाबरी मस्जिद का) ढांचा. मैंने चढ़कर तोड़ा था ढांचा. मुझे ईश्वर ने शक्ति दी थी. हमने देश का कलंक मिटाया है.”
इसी मामले में निर्वाचन आयोग ने लोकसभा चुनाव के लिए लगे आचार संहिता के उल्लंघन को लेकर प्रज्ञा को शनिवार देर रात को ही कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया था और उनसे 24 घंटे के अंदर जवाब मांगा था.
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