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लखनऊ। जनेश्वर मिश्र पार्क में जहां मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समाजवादी पार्टी के विशेष आपातकालीन अधिवेशन को संबोधित करने की तैयारी में है, वहीं पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव ने इस तथाकथित राष्ट्रीय अधिवेशन को पूरी तरह से असंवैधानिक बताया है।
मुलायम सिंह यादव ने जनेश्वर मिश्रा पार्क में चल रहे समाजवादी पार्टी के विशेष राष्ट्रीय अधिवेशन को खारिज कर दिया है। उन्होंने एक पत्र जारी कर इस अधिवेशन को असंवैधानिक बताया है। पत्र में मुलायम सिंह यादव ने लिखा है कि दिनांक 30 दिसंबर को राम गोपाल यादव के हस्ताक्षरित एक पत्र में सभी प्रतिनिधियों को एक जनवरी को लखनऊ में एक तथाकथित विशेष आपातकालीन राष्ट्रीय प्रतिनिधि सम्मेलन में आमंत्रित किया गया है।
मुलायम ने लिखा है कि यह सम्मेलन पूरी तरह से पार्टी संविधान के विपरीत है। सम्मेलन पार्टी के अनुशासन के विपरीत तथा पार्टी को क्षति पहुंचाने के उद्देश्य से बुलाया गया है। अत: आप ऐसे किसी तथाकथित सम्मेलन में भाग न लें।
मुलायम ने पत्र में साफ लिखा है कि आपको अवगत कराया जा रहा है कि ऐसे किसी सम्मेलन में भाग लेना या इससे संबंधित किसी भी प्रस्ताव या प्रपत्र पर हस्ताक्षर करना पार्टी हित के विरुद्ध तथा अनुशासनहीनता समझा जाएगा और ऐसा करने वाले के खिलाफ कठोर कार्यवाही भी की जाएगी।e
लखनऊ। जनेश्वर मिश्र पार्क में जहां मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समाजवादी पार्टी के विशेष आपातकालीन अधिवेशन को संबोधित करने की तैयारी में है, वहीं पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव ने इस तथाकथित राष्ट्रीय अधिवेशन को पूरी तरह से असंवैधानिक बताया है।
मुलायम सिंह यादव ने जनेश्वर मिश्रा पार्क में चल रहे समाजवादी पार्टी के विशेष राष्ट्रीय अधिवेशन को खारिज कर दिया है। उन्होंने एक पत्र जारी कर इस अधिवेशन को असंवैधानिक बताया है। पत्र में मुलायम सिंह यादव ने लिखा है कि दिनांक 30 दिसंबर को राम गोपाल यादव के हस्ताक्षरित एक पत्र में सभी प्रतिनिधियों को एक जनवरी को लखनऊ में एक तथाकथित विशेष आपातकालीन राष्ट्रीय प्रतिनिधि सम्मेलन में आमंत्रित किया गया है।
मुलायम ने लिखा है कि यह सम्मेलन पूरी तरह से पार्टी संविधान के विपरीत है। सम्मेलन पार्टी के अनुशासन के विपरीत तथा पार्टी को क्षति पहुंचाने के उद्देश्य से बुलाया गया है। अत: आप ऐसे किसी तथाकथित सम्मेलन में भाग न लें।
मुलायम ने पत्र में साफ लिखा है कि आपको अवगत कराया जा रहा है कि ऐसे किसी सम्मेलन में भाग लेना या इससे संबंधित किसी भी प्रस्ताव या प्रपत्र पर हस्ताक्षर करना पार्टी हित के विरुद्ध तथा अनुशासनहीनता समझा जाएगा और ऐसा करने वाले के खिलाफ कठोर कार्यवाही भी की जाएगी।e