किन्नर नेहा उतरी चुनाव मैदान में, राजनीतिक पार्टियों के समीकरण बिगड़े, सताने लगा किन्नर से हारने का डर |
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विधानसभा चुनाव में एक - दो नहीं बल्कि पांच किन्नर चुनौती दे रहे हैं। इंदौर-2 से बाला वेश्वर, दमोह - रेहाना, होशंगाबाद-पांची देशमुख, कटनी की बड़वारा - दुर्गा मौसी और अंबाह से नेहा चुनाव मैदान में हैं।
भोपाल । इन दिनों मुरैना जिले के अम्बाह विधानसभा क्षेत्र में लोग किन्नर नेहा के पीछे चुनाव प्रचार करते खूब देखे जा रहे हैं। किन्नर नेहा ने बतौर उम्मीदवार चुनाव मैदान में अपनी दस्तक देकर जहां मुकाबले को रोचक बना दिया है तो वहीं तमाम राजनीतिक पार्टियों के बने-बनाए समीकरण को भी बिगाड़कर रख दिया है।
क्षेत्र का मतदाता पूछ रहा है कि क्या नेहा शहडोल जिले की सोहागपुर विधानसभा सीट जैसा इतिहास रचने जा रही है, क्योंकि किन्नर शबनम मौसी ने यहां से चुनाव जीतकर सभी को दांतों तले अंगुली दबाने पर मजबूर कर दिया था।
मुरैना जिले की अम्बाह विधानसभा सीट से किन्नर नेहा के चुनाव मैदान में आने के कारण सभी की नजरें इस सीट पर टिक गई हैं। मुकाबला रोचक है और सभी आर-पार की लड़ाई लड़ने के मूड में दिख रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ विधानसभा प्रत्याशी किन्नर नेहा को मिल रहे जनसमर्थन से सत्ताधारी पार्टी भाजपा, प्रमुख विपक्षी कांग्रेस और बसपा के भी समीकरण बिगड़ते दिख रहे हैं।
गौरतलब है कि किन्नर शबनम मौसी ने मध्य प्रदेश के शहडोल जिले के सोहागपुर निर्वाचन क्षेत्र से वर्ष 2000 में विधायक का चुनाव जीतकर सभी को हैरानी में डाल दिया था। इस घटना को याद करते हुए क्षेत्र के लोग पूछ रहे हैं कि क्या उसी इतिहास को किन्नर नेहा भी दोहराने वाली हैं, जिस कारण प्रमुख राजनीतिक पार्टियां चिंतित नजर आ रही हैं। इस सीट पर पिछले चुनाव में बहुजन समाज पार्टी के प्रत्याशी ने जीत दर्ज की थी। इस बार समीकरण बदले हुए हैं जिसकी वजह दलितों और सवर्णों के बीच बनी खाई है।
इससे हटकर भाजपा और कांग्रेस के टिकट बंटवारे को लेकर अंदरुनी विरोध उभर रहे हैं। इसलिए इन दोनों ही पार्टी के उम्मीदवारों को भितरघात का खतरा है। एक तरफ जहां प्रमुख राजनीतिक पार्टियों के प्रत्याशी और नेता अपने जमीनी कार्यकर्ताओं को मनाने में लगे हुए हैं तो वहीं क्षेत्र की छारी (बेड़िया) समुदाय की किन्नर नेहा के चुनाव प्रचार में स्वयं से लोग आगे आ रहे हैं। इस कारण यह चुनाव काफी दिलचस्प हो गया है।
मौजूदा सरकार और नेताओं से नाराजगी के कारण भी लोग किन्नर नेहा को भारी समर्थन देने की बात कह रहे हैं। इससे उम्मीद बंधी है कि विधानसभा सीट अम्बाह भी सोहागपुर जैसा इतिहास बनायेगी।
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