B. Chandrakala IAS |
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बी चंद्रकला…एक ऐसा नाम, जो इस वक्त यूपी ही नहीं देश के प्रशासनिक गलियारे में सबसे ज्यादा चर्चा में है। कभी अपने तेवर और एक्शन से सकारात्मक वजहों से बी चंद्रकला ( B। Chandrakala IAS) चर्चा में रहतीं थीं, मगर अब यूपी के खनन घोटाले में नाम आने के बाद नकारात्मक रूप से सुर्खियों में हैं। सोशल मीडिया पर अपनी जबर्दस्त फैंस फॉलोइंग के लिए जानी जाने वालीं आईएएस बी चंद्रकला को नए साल में ही बुरे दिन देखने पड़े, जब लखनऊ स्थित फ्लैट पर बीते दिनों सीबीआई ने छापेमारी की।
इस खबर के बाद ईमानदारी के लिए उनके प्रशंसक बने लोगों को तगड़ा झटका लगा। हमीरपुर में डीएम रहते उन पर अवैध खनन का आरोप लगा। इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश पर हुई सीबीआई(CBI) जांच में उनकी भूमिका उजागर होने पर नए साल के दूसरे दिन यानी दो जनवरी को ही चंद्रकला ( B। Chandrakala IAS) और दस अन्य लोगों पर सीबीआई ने केस दर्ज कर छापेमारी शुरू की।
B. Chandrakala IAS |
सब मानते थे काबिल अफसर :सपा सरकार में चंद्रकला को काम के बड़े मौके मिले, शासन उन्हें काबिल अफसर मानता रहा। शायद यही वजह है कि अखिलेश यादव सरकार में हमीरपुर, बुलंदशहर, मेरठ सहित पांच प्रमुख जिलों में डीएम बनने का मौका मिला था। हालांकि, बीजेपी सरकार आते ही उन्होंने यूपी से दिल्ली का रुख कर लिया। यूपी में योगी सरकार बनने के बाद उन्होंने दिल्ली में प्रतिनियुक्ति मांग ली थी, मार्च, 2017 मे ही वह दिल्ली पहुंचीं और स्वच्छ भारत मिशन की निदेशक रहीं। फिर साध्वी निरंजन ज्योति की निजी सचिव बनीं। इसके बाद फिर वह पिछले साल ही दोबारा यूपी लौटीं। माध्यमिक शिक्षा विभाग में विशेष सचिव का चार्ज लेने के बाद ही फिर वह स्टडी लीव (शैक्षिक अवकाश) पर चली गईं हैं। यूं तो चंद्रकला को लेकर अब तक कई रिपोर्ट आ चुकीं, मगर इस बार जानते हैं कि संघ लोक सेवा आयोग(यूपीएससी) सिविल सर्विसेज की परीक्षा में उनका कैसा प्रदर्शन रहा था।
B. Chandrakala IAS |
चंद्रकला को कितने अंक मिले : तेलंगाना के करीमनगर की मूल निवासी चंद्रकला (IAS B। Chandrakala) वर्ष 2007 की सिविल सेवा परीक्षा में बैठीं थीं। उनका रोल नंबर 015080 रहा। इस परीक्षा में उन्हें 409 वीं रैंक मिली थी। कुल 2300 अंकों की परीक्षा ( लिखित और पर्सनैलिटी टेस्ट) में उन्हें 1234 अंक मिले थे। चंद्रकला ने इंटरव्यू में तीन सौ में से 156 अंक हासिल किए, जबकि 2000 की लिखित परीक्षा में 1078 मिले थे। अगर विषयवार अंकों की बात करें तो दो सौ अंक की निबंध परीक्षा में 104 अंक, तीन-तीन सौ अंक के सामान्य अध्ययन के दो प्रश्न पत्र में क्रमशः 194 और 160 अंक मिले। इसी तरह प्रथम वैकल्पिक विषय के दोनों प्रश्नपत्र(300-300 अंक) में 143, 179 अंक मिले, जबकि दूसरे वैकल्पिक विषय के दोनों प्रश्नपत्रों में क्रमशः 136 और 162 अंक मिले। इस प्रकार कुल 2078 की लिखित परीक्षा में उन्हें 1078 अंक मिले।
कौन कौन रहा चंद्रकला का बैचमेट : एकेडमी में ट्रेनिंग के बाद चंद्रकला (IAS B। Chandrakala) को यूपी काडर मिला। खास बात रही कि उस वर्ष चंद्रकला के बराबर करीब दस अन्य अभ्यर्थियों को भी अंक मिले थे। जिसममें मनीष कुमार और पारुल गर्ग का भारतीय राजस्व सेवा(आइआरएस) में चयन हुआ था। वर्ष 2007 की परीक्षा के टॉपर अडप्पा कार्तिक थे। जिन्होंने 2300 में 1458 अंक पाकर टॉप किया था। जबकि एक अंक कम पाने वाले सुप्रीत सिंह गुलाटी दूसरे स्थान पर रहे थे। जिस वर्ष चंद्रकला ने परीक्षा पास की थी, उस वर्ष 638 रैंक तक के अभ्यर्थियों का सलेक्शन हुआ था। सबसे कम अंक 899 अंक आनंद कुमार राय को मिले थे।
कैसे चर्चित हुईं चंद्रकला : बात 2014 की है। जब 2008 काडर की आईएएस बी चंद्रकला बुलंदशहर में डीएम थीं। उस दौरान एक वीडियो सोशल मीडिया पर मानो तूफान की तरह वायरल हुआ था, जिसने चंद्रकला को सोशल मीडिया की सनसनी बना दिया। इस वीडियो के बाद उनकी ख्याति ईमानदार आईएएस अफसर के रूप में बनी। दरअसल, उस वीडियो में वह ईंट से ईंट तोड़कर सड़क निर्माण की खराब गुणवत्ता का भंडाफोड़ कर रहीं थीं। इस दौरान ठेकेदार और इंजीनियर को सरेआम फटकार लगा रहीं थीं। बार-बार कर रहीं थीं कि भ्रष्टाचार करते।।। शर्म नहीं आती।।। बी चंद्रकला ने नगरपालिका के विकास कार्यों की जांच के दौरान पाया था कि घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया है। इसके बाद उन्होंने ऐसे तेवर में मातहतों को फटकार लगाई कि उसका वीडियो वायरल हो गया था। लोगों ने ‘डीएम हो तो ऐसा’-कहकर खूब यह वीडियो शेयर किया था। इसके बाद चंद्रकला के सोशल मीडिया फॉलोवर्स की तादाद बढ़ती गई। मेरठ में डीएम रहने के बाद मार्च 2017 से प्रतिनियुक्ति पर वह दिल्ली पहुंचीं और केंद्र सरकार में इस वक्त कार्यरत हैं।
पति की प्रेरणा से बनीं आईएएस : भले ही आज चंद्रकला खनन मामले में घिरीं हैं, मगर आईएएस बनने तक का उनका सफर जरूर प्रेरणादायी है। बी चंद्रकला की शादी हो चुकी थी। इंजीनियर पति ए रामुलु से शादी के बाद पारिवारिक जिम्मेदारियां भी आ गईं थीं, मगर उन्होंने हार नहीं मानी। शादी के बाद डिस्टेंस लर्निंग से उन्होंने पोस्ट ग्रेजुएशन की पढ़ाई की। इसके बाद संघ लोकसेवा आयोग की परीक्षा में सफलता हासिल की। उन्हें उत्तर-प्रदेश का काडर मिला। तैयारी के लिए उन्हें पति से खासा सपोर्ट मिला था।
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