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भोपाल व्यापमं मामले से जुड़े नम्रता डामोर की मौत के राज से पर्दा हटाने के लिए सीबीआई ने उसकी दोनों पोस्ट मार्टम रिपोर्टस पर दिल्ली के विशेषज्ञों की राय मांगी है। उज्जैन के तीन डॉक्टरों की पैनल ने अपनी रिपोर्ट में नम्रता की मौत को हत्या बताया था जबकि मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर डॉ. डीएस बडकुल ने खुदकुशी की बात कही थी। हत्या का प्रकरण दर्ज कर चुकी सीबीआई फिलहाल दिल्ली की रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर सीबीआई इस मामले में हत्या का प्रकरण दर्ज कर संबंधित थाना स्टाफ एवं डॉक्टरों से पूछताछ कर चुकी है। साथ ही नम्रता मामले की फाइल में लगे सभी दस्तावेजों की छानबीन की जा रही है। इस प्रकरण में पोस्टमार्टम रिपोर्ट को लेकर उज्जैन के डॉक्टरों और मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर ने अलग-अलग निष्कर्ष निकाले हैं। सबसे पहले इस रिपोर्ट पर एक्सपर्ट की राय के बाद सीबीआई अपनी पड़ताल को आगे बढ़ाएगी।
यहां भेजी रिपोर्ट
इसके लिए दिल्ली स्थित सफदरजंग अस्पताल, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज एवं ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस को दोनों रिपोर्टस भेजी गई हैं। इन तीनों अस्पतालों की एक्सपर्ट्स रिपोर्ट मिलने के बाद यह स्पष्ट हो जाएगा कि नम्रता मर्डर की जांच किस लाइन पर शुरू की जाए।
सीबीआई कर चुकी पूछताछ
इस मामले में शव परीक्षण करने वाले उज्जैन के डॉक्टरों की पैनल एवं संबंधित थाना स्टाफ से सीबीआई पूछताछ कर चुकी है। नम्रता का शव जिस स्थान पर मिला था वहां जाकर सीबीआई के जांच अधिकारी फारेंसिक जांच के अलावा नाट्य रूपांतरण भी करवा चुके हैं। अब दिल्ली से विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर मामले में नए सिरे से खोजबीन शुरू होगी।
लगा दिया था खात्मा
मेडिकल कालेज की छात्रा नम्रता का शव 7 जनवरी 2012 को उज्जैन जिले के श्योपुरा-भेरूपुर रेलवे ट्रेक पर बरामद हुआ था। वह इंदौर-बिलासपुर ट्रेन से जबलपुर जा रही थी। मामले में तीन डॉक्टरों की पैनल ने पोस्ट मार्टम के बाद अपनी रिपोर्ट में मौत की वजह दम घुटने से बताई थी। पुलिस ने हत्या का प्रकरण दर्ज कर लिया था। बाद में मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर डॉ.बडकुल ने नम्रता की मौत को लेकर खुदकुशी की थ्योरी दे दी, इसके बाद मामले मामले को आत्महत्या का बताकर खात्मा लगा दिया गया
भोपाल व्यापमं मामले से जुड़े नम्रता डामोर की मौत के राज से पर्दा हटाने के लिए सीबीआई ने उसकी दोनों पोस्ट मार्टम रिपोर्टस पर दिल्ली के विशेषज्ञों की राय मांगी है। उज्जैन के तीन डॉक्टरों की पैनल ने अपनी रिपोर्ट में नम्रता की मौत को हत्या बताया था जबकि मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर डॉ. डीएस बडकुल ने खुदकुशी की बात कही थी। हत्या का प्रकरण दर्ज कर चुकी सीबीआई फिलहाल दिल्ली की रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर सीबीआई इस मामले में हत्या का प्रकरण दर्ज कर संबंधित थाना स्टाफ एवं डॉक्टरों से पूछताछ कर चुकी है। साथ ही नम्रता मामले की फाइल में लगे सभी दस्तावेजों की छानबीन की जा रही है। इस प्रकरण में पोस्टमार्टम रिपोर्ट को लेकर उज्जैन के डॉक्टरों और मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर ने अलग-अलग निष्कर्ष निकाले हैं। सबसे पहले इस रिपोर्ट पर एक्सपर्ट की राय के बाद सीबीआई अपनी पड़ताल को आगे बढ़ाएगी।
यहां भेजी रिपोर्ट
इसके लिए दिल्ली स्थित सफदरजंग अस्पताल, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज एवं ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस को दोनों रिपोर्टस भेजी गई हैं। इन तीनों अस्पतालों की एक्सपर्ट्स रिपोर्ट मिलने के बाद यह स्पष्ट हो जाएगा कि नम्रता मर्डर की जांच किस लाइन पर शुरू की जाए।
सीबीआई कर चुकी पूछताछ
इस मामले में शव परीक्षण करने वाले उज्जैन के डॉक्टरों की पैनल एवं संबंधित थाना स्टाफ से सीबीआई पूछताछ कर चुकी है। नम्रता का शव जिस स्थान पर मिला था वहां जाकर सीबीआई के जांच अधिकारी फारेंसिक जांच के अलावा नाट्य रूपांतरण भी करवा चुके हैं। अब दिल्ली से विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर मामले में नए सिरे से खोजबीन शुरू होगी।
लगा दिया था खात्मा
मेडिकल कालेज की छात्रा नम्रता का शव 7 जनवरी 2012 को उज्जैन जिले के श्योपुरा-भेरूपुर रेलवे ट्रेक पर बरामद हुआ था। वह इंदौर-बिलासपुर ट्रेन से जबलपुर जा रही थी। मामले में तीन डॉक्टरों की पैनल ने पोस्ट मार्टम के बाद अपनी रिपोर्ट में मौत की वजह दम घुटने से बताई थी। पुलिस ने हत्या का प्रकरण दर्ज कर लिया था। बाद में मेडिकोलीगल इंस्टीट्यूट भोपाल के डायरेक्टर डॉ.बडकुल ने नम्रता की मौत को लेकर खुदकुशी की थ्योरी दे दी, इसके बाद मामले मामले को आत्महत्या का बताकर खात्मा लगा दिया गया
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