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मध्य प्रदेश में एक बैंक द्वारा किसानों को बिना महात्मा गांधी की तस्वीर वाले 2000 रुपए के नोट दिए जाने का मामला सामने आया है। ये नोट किसानों को एसबीआई की ब्रांच की ओर से दिए गए हैं। मामला मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले की बड़ोदा तहसील का है। जब किसानों को ये नोट मिले तो वे इन्हें फर्जी समझकर हैरान हो गए। हालांकि, बैंक कर्मचारियों ने बताया कि ये नोट असली हैं, लेकिन इनकी प्रिंटिंग सही से नहीं हुई है।
जिले के बिच्छुखेड़ी गांव के लक्ष्मण मीणा और काडूखेड़ी के रहने वाले गुरमीत सिंह बैंक से आठ-आठ हजार रुपए निकालने पहुंचे थे। दोनों किसानों को बैंक की ओर से दो-दो हजार रुपए के चार-चार नोट दिए गए थे। इन्होंने 2000 रुपए के नोट नहीं देखे थे, ऐसे में उन्होंने कैशियर से ये नोट ले लिए। लेकिन जब ये बैंक से बाहर आए तो लोगों ने देखा तो नोट के ऊपर से महात्मा गांधी की तस्वीर गायब थे और बैंक के बाहर लोगों में हड़कंप मच गया और वहां मौजूद लोगों ने इनकी तस्वीर क्लिक कर ली। इसके बाद ये वापस बैंक के अंदर गए और बैंक अधिकारियों को इस बारे में बताया। शुरुआत में तो बैंक अधिकारियों ने इस मामले को रफा-दफा करने की कोशिश की, लेकिन बाद में बैंक ने उनके नोट वापस ले लिए।
न्यूज18 की रिपोर्ट् में ब्रांच के मैनेजर के हवाले से लिखा गया है, ‘नोट फर्जी नहीं हैं। नोट पर तस्वीर की जगह खाली छोड़ी गई है। हमने नोट वापस ले लिए हैं।’ सूत्रों के मुताबिक बैंकों के पास ऐसे नोटों का पूरा बंडल है। हालांकि, बैंककर्मी इस मामले पर चुप्पी साधे हुए हैं, ऐसे कितने नोट ब्रांच में आए हैं। बता दें, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 500 और 1000 रुपए के पुराने नोट बंद करने का ऐलान आठ नवंबर 2016 को किया था। इसके साथ ही ऐलान किया गया था कि 500 और 2000 रुपए का नया नोट मार्केट में लाया जाएगा। सरकार ने 2000 रुपए का नोट मार्केट से उठाए गए कैश की कमी का पूरा करने के लिए जारी किया था। नोटबंदी के फैसले से अर्थव्यवस्था से करीब 85 फीसदी कैश वापस ले लिया गया था।
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