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क्या है सुरक्षित पासवर्ड?
आधुनिक जीवनशैली में पासवर्ड के बिना जीवन की कल्पना संभव नहीं है। मोबाइल फ़ोन से लेकर कंप्यूटर खोलने, बैंक खाता खोलने, घर के लॉक को खोलने, हर जगह पासवर्ड का इस्तेमाल होता है।
हमारी निर्भरता पासवर्ड पर जितनी बढ़ती जा रही है, उतने ही हैकरों के हमले भी बढ़ रहे हैं, जो हमारी गोपनीय सूचनाओं को उड़ा ले जाते हैं।
ये जानना ज़रूरी है कि पूरी दुनिया में इंटरनेट इस्तेमाल करने वालों में 98.8 प्रतिशत वही 10,000 पासवर्ड्स का इस्तेमाल करते हैं।
हैकर छह एल्फ़ा-न्यूमैरिक डिजिट के पासवर्ड को एक सैकेंड के 1000वें हिस्से में, 12 एल्फ़ा-न्यूमैरिक डिजिट के पासवर्ड को 3.21 मिनट में कंप्यूटर एलगोरिदम का इस्तेमाल करते हुए हैक कर सकते हैं।
तो फिर सुरक्षित पासवर्ड क्या है?
इसके लिए ज़रूरी है कि आपको हैकर्स के तौर तरीकों का बेहतर पता हो, ताकि आप सुरक्षा के बेहतर इंतज़ाम तलाश पाएं।
हैकर्स कैसे चुराते हैं पासवर्ड?
हैकर्स अमूमन किसी का भी पासवर्ड चुराने के लिए तीन तरीके इस्तेमाल करते हैं। वे फर्ज़ी ईमेल भेजते हैं, जिसके जरिए अचानक से अमीर होने, लाटरी खुलने जैसे लालच दिए जाते हैं। जब आप उन साइट्स पर जाते हैं तो आपको सीक्रेट कोड डालने को कहा जाता है।
हैकर्स चालाकी, समझ और अनुमानों से काम लेते हैं। साईबर सुरक्षा के इस दौर में भी, दुनिया भर के लोगों में सबसे ज़्यादा PASSWORD को ही अपना पासवर्ड रख बैठते हैं। इसके बाद सबसे लोकप्रिय पासवर्ड है 123456, लेकिन हैकर्स ये सब जानते हैं।
अगर आप ये सोचते हैं कि आप अपने पालतू जानवर या घर के किसी सदस्य के नाम पर पासवर्ड रखें तो ये भी सुरक्षित नहीं होता है। क्योंकि हैकर्स आपकी फेसबुक और ट्विटर प्रोफ़ाइल के जरिए आपसे जुड़े लोगों के नाम, महत्वपूर्ण तिथियों को आसानी से जान जाते हैं।
कई लोग पापुलर चलन के आधार पर अपना पासवर्ड बनाते हैं। लेकिन हैकिंग करने वालों के डाटाबेस में ऐसे कई संभावित पासवर्ड के कांबिनेशन, आपके, आपके रिश्तेदारों के नाम और तिथियों से बनने वाले कॉम्बिनेशन मौजूद होते हैं।
अगर दूसरे तरीके से भी हैकिंग करने वाले कामयाब नहीं होते हैं तो वे तीसरा रास्ता अपनाते हैं। वे कंप्यूटर एलोगरिदम का इस्तेमाल करते हैं।
लेकिन ऐसा भी नहीं है कि हैकरों के चुंगल से बचा नहीं जा सकता है। इसके काफ़ी आसान से उपाय हैं।
क्या है सुरक्षित पासवर्ड?
आधुनिक जीवनशैली में पासवर्ड के बिना जीवन की कल्पना संभव नहीं है। मोबाइल फ़ोन से लेकर कंप्यूटर खोलने, बैंक खाता खोलने, घर के लॉक को खोलने, हर जगह पासवर्ड का इस्तेमाल होता है।
हमारी निर्भरता पासवर्ड पर जितनी बढ़ती जा रही है, उतने ही हैकरों के हमले भी बढ़ रहे हैं, जो हमारी गोपनीय सूचनाओं को उड़ा ले जाते हैं।
ये जानना ज़रूरी है कि पूरी दुनिया में इंटरनेट इस्तेमाल करने वालों में 98.8 प्रतिशत वही 10,000 पासवर्ड्स का इस्तेमाल करते हैं।
हैकर छह एल्फ़ा-न्यूमैरिक डिजिट के पासवर्ड को एक सैकेंड के 1000वें हिस्से में, 12 एल्फ़ा-न्यूमैरिक डिजिट के पासवर्ड को 3.21 मिनट में कंप्यूटर एलगोरिदम का इस्तेमाल करते हुए हैक कर सकते हैं।
तो फिर सुरक्षित पासवर्ड क्या है?
इसके लिए ज़रूरी है कि आपको हैकर्स के तौर तरीकों का बेहतर पता हो, ताकि आप सुरक्षा के बेहतर इंतज़ाम तलाश पाएं।
हैकर्स कैसे चुराते हैं पासवर्ड?
हैकर्स अमूमन किसी का भी पासवर्ड चुराने के लिए तीन तरीके इस्तेमाल करते हैं। वे फर्ज़ी ईमेल भेजते हैं, जिसके जरिए अचानक से अमीर होने, लाटरी खुलने जैसे लालच दिए जाते हैं। जब आप उन साइट्स पर जाते हैं तो आपको सीक्रेट कोड डालने को कहा जाता है।
हैकर्स चालाकी, समझ और अनुमानों से काम लेते हैं। साईबर सुरक्षा के इस दौर में भी, दुनिया भर के लोगों में सबसे ज़्यादा PASSWORD को ही अपना पासवर्ड रख बैठते हैं। इसके बाद सबसे लोकप्रिय पासवर्ड है 123456, लेकिन हैकर्स ये सब जानते हैं।
अगर आप ये सोचते हैं कि आप अपने पालतू जानवर या घर के किसी सदस्य के नाम पर पासवर्ड रखें तो ये भी सुरक्षित नहीं होता है। क्योंकि हैकर्स आपकी फेसबुक और ट्विटर प्रोफ़ाइल के जरिए आपसे जुड़े लोगों के नाम, महत्वपूर्ण तिथियों को आसानी से जान जाते हैं।
कई लोग पापुलर चलन के आधार पर अपना पासवर्ड बनाते हैं। लेकिन हैकिंग करने वालों के डाटाबेस में ऐसे कई संभावित पासवर्ड के कांबिनेशन, आपके, आपके रिश्तेदारों के नाम और तिथियों से बनने वाले कॉम्बिनेशन मौजूद होते हैं।
अगर दूसरे तरीके से भी हैकिंग करने वाले कामयाब नहीं होते हैं तो वे तीसरा रास्ता अपनाते हैं। वे कंप्यूटर एलोगरिदम का इस्तेमाल करते हैं।
लेकिन ऐसा भी नहीं है कि हैकरों के चुंगल से बचा नहीं जा सकता है। इसके काफ़ी आसान से उपाय हैं।
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